गंगा नगर कॉलोनी पर कार्रवाई की आशंका, BJP नेताओं की खींचतान के बीच जनता में बढ़ी बेचैनी
बुलंदशहर/अनूपशहर। गंगा नगर कॉलोनी के सैकड़ों परिवार इन दिनों भारी चिंता में हैं। वर्षों की जमा-पूँजी से बनाए गए उनके मकानों पर अब बुलडोज़र चलने का खतरा मंडरा रहा है। वजह—अनूपशहर तहसील द्वारा कॉलोनी को अवैध घोषित किया जाना और स्थानीय भाजपा नेताओं की आपसी रस्साकशी।
तहसील के अधिकारियों ने हाल के दिनों में कई बार कॉलोनी का निरीक्षण किया है, जिससे लोगों में दहशत का माहौल बना हुआ है। दस्तावेज़ों के अनुसार गंगा नगर कॉलोनी गाटा संख्या 1234 की भूमि पर बसाई गई है। सिर्फ 26 बीघा में फैली इस कॉलोनी को अवैध बताया जा रहा है, जबकि वर्तमान ब्लॉक प्रमुख अतुल कुमार सिंह का दावा है कि उन्होंने यह ज़मीन वर्ष 1996 में रामकली नामक महिला से विधिवत खरीदी थी।
तहसील पर भी उठ रहे सवाल
स्थानीय लोगों का कहना है कि गाटा संख्या 1234 में कुल लगभग 1,000 बीघा भूमि दर्ज है, जिसमें जेपी यूनिवर्सिटी, एलडीएवी कॉलेज और भारद्वाज एन्क्लेव जैसी बड़ी इमारतें भी शामिल हैं। सवाल यह है कि जब गंगा नगर कॉलोनी को अवैध माना जा रहा है, तो उसी नंबर पर बनी अन्य कॉलोनियों पर कार्रवाई क्यों नहीं की गई?
राजनीतिक खींचतान का असर?
जानकारी के मुताबिक, मामला उस समय गर्माया जब अनूपशहर के विधायक संजय शर्मा ने इस मुद्दे को याचिका समिति में उठाया। इसके बाद तहसील प्रशासन ने कॉलोनी में लगातार दौरे शुरू कर दिए। स्थानीय लोगों का मानना है कि आने वाले 2027 विधानसभा चुनाव को देखते हुए ब्लॉक प्रमुख अतुल कुमार सिंह और विधायक संजय शर्मा के बीच राजनीतिक टकराव तेज़ है, और इसका खामियाज़ा आम जनता भुगत रही है।
गंगा नगर कॉलोनी में रहने वाले लोग कहते हैं कि उन्होंने वर्षों की मेहनत की कमाई लगाकर अपने परिवारों के लिए आशियाना बनाया था, और अब उसी पर संकट छाया हुआ है।