सैफई (इटावा) उत्तर प्रदेश आयुर्विज्ञान विश्वविद्यालय सैंफई में 'फंडस कैमरा विद एंजियोग्राफी' मशीन का शुभारंभ कुलपति प्रोफेसर डॉ. पी० के जैन ने किया। इस मशीन से आंखे के पर्दे की फोटो लेकर पर्दे की बीमारियों का आसानी से पता लगाया जा सकता है।
कुलपति ने कहा कि नेत्र रोगियो के लिए पर्दे की जांच की सभी सुविधाएं अब हमारे संस्थान में है जिससे नेत्र रोगियों को बेहतर इलाज मिल सकेगा। उन्होंने नेत्र रोग विभागाध्यक्ष से तकनीक रूप से आधुनिक मशीन के संदर्भ में जांच संबंधी जानकारी ले कर मशीन का निरीक्षण भी किया।
नेत्र रोग विभागध्यक्ष प्रोफेसर डॉ रवि रंजन ने बताया फंडस कैमरा एंजियोग्राफी एक निदान तकनीक है जो आंख के पीछे की संरचनाओं, विशेष रूप से रेटिना और कोरॉइड, की रक्त वाहिकाओं की तस्वीरें लेने के लिए विशेष कैमरों और फ्लोरेसिन डाई का उपयोग करती है। यह रक्त वाहिकाओं में असामान्यताओं, जैसे कि रिसाव, रुकावट या नई रक्त वाहिकाओं के गठन का पता लगाने में मदद मिलती है यह मशीन आंख के परदे की बीमारियों के इलाज में बहुत ही कारगर सिद्ध होगी।
उन्होंने बताया कि नेत्र विभाग में आंख के परदे की जांच हेतु सारी सुविधाएं उपलब्ध हैं विभाग में फंड्स कैमरा ओसीटी मशीन पर्दे की लेजर की सुविधा भी है उन्होंने बताया कि काला पानी (ग्लूकोमा) की जांच, आंख का प्रेशर काला पानी के लिए पर्दे की जांच,बिना चीरा लेजर द्वारा काला पानी का ऑपरेशन, छोटे बच्चों में होने वाले काला पानी का ऑपरेशन, भेंगापन व मोतियाबिंद के ऑपरेशन की सारी सुविधाएं बहुत ही कम खर्च में संस्थान में उपलब्ध है। नेत्र रोगी कभी भी कमरा नंबर जी-15 में आकर दिखा सकते हैं।
इस अवसर पर मेडिकल सुपरिंटेंडेंट प्रोफेसर डॉ एसपी सिंह , डॉ संदीप गुप्ता,
रेटिना क्लिनिक इंचार्ज डॉ मीनू बब्बर,डॉ बृजेश सिंह, डॉ दीप्ति शुक्ला,डॉ लवली,डॉ नरेंद्र, डॉ राहुल, डॉ शिल्पी उपस्थित रहे।