चंदौली में दो समुदायों के बीच पनपी हिंसा की चिंगारी बनी आग: एक की मौत, कई घायल, पुलिस छावनी में तब्दील हुआ गांव...

Update: 2025-05-18 05:31 GMT


विशेष रिपोर्ट: ओ पी श्रीवास्तव, चंदौली

चंदौली: खबर यूपी के जनपद चंदौली से है जहां सदर थाना क्षेत्र अंतर्गत नेगुरा गांव में शनिवार की देर रात दो समुदायों के बीच पुराने विवाद ने भयावह रुख अख्तियार कर लिया। नेगुरा नहर पर पिकअप द्वारा बाइक खड़ा कर रास्ता अवरुद्ध किए युवकों से बाइक हटाने को लेकर उपजे वाद - विवाद ने हिंसक रूप धारण कर लिया। देखते ही देखते दोनों समुदायों द्वारा जमकर लाठी - डंडे और ईंट - पत्थर से वार होने लगा। हिंसा की इस भयावह घटनाक्रम में एक व्यक्ति की मौत हो गई जबकि कई महिलाएं और पुरुष घायल हो गए। गांव में माहौल तनावपूर्ण है और भारी संख्या में दो क्षेत्राधिकारियों के नेतृत्व में पुलिस फोर्स को तैनात किया गया है।

प्राप्त जानकारी के अनुसार रास्ता देने के वाद - विवाद से शुरू हुआ विवाद कब हिंसक रूप में बदल गया, कोई समझ नहीं पाया। जमकर पथराव और लाठी डंडे चलने लगे। इस दौरान मुस्लिम समुदाय के एक व्यक्ति बादशाह ( 45 वर्ष) को गंभीर चोटें आईं, जिसे आनन - फानन में लोगों ने जिला अस्पताल पहुंचाया। जहां स्थिति गंभीर देख चिकित्सकों ने वाराणसी ट्रामा सेंटर रेफर कर दिया लेकिन रास्ते में ही उसकी मौत हो गई। वहीं दूसरे समुदाय की कई महिलाएं और पुरुष इस हिंसा में घायल हो गए। घटना की सूचना मिलते ही एसपी आदित्य लांगहे, एएसपी, क्षेत्राधिकारी सदर समेत कई थानों की फोर्स मौके पर पहुंच गई और हालात को काबू में लेकर आगे की विधिक कार्रवाई में जुट गई।

पुराना विवाद बना हिंसा की वजह ...

सूत्रों की माने तो आज घटी इस हिंसक उपद्रव की घटना की जड़ें सिर्फ इसी प्रकरण तक ही निहित नहीं है। इससे पूर्व भी दो बार दोनों समुदायों में कहासुनी हुई थी। चंद दिनों पूर्व इसी कहासुनी और झड़प के बीच दोनों समुदाय के लोग नवही पुलिस चौकी प्रभारी संतोष तिवारी के समक्ष प्रार्थना पत्र के साथ उपस्थित हुए थे। लेकिन सुलह समझौता कराकर मामला रफा दफा कर दिया गया। जिसके कारण इतनी वीभत्स घटना सामने आई। यदि पहले ही नवही चौकी प्रभारी द्वारा घटना को संजीदे से लेकर कानूनी कार्रवाई अमल में लाई गई होती तो शायद घटना की पुनरावृति और हिसंक वारदात सामने नहीं आता!

बता दें कि पूरे प्रकरण की जद में मंदिर पर पूजा - पाठ करने महिलाओं और बालिकाओं पर कुछ शरारती तत्वों द्वारा छींटाकशी शामिल है। जिसके बाद लगातार तनाव बढ़ता गया और एक के बाद एक कहासुनी और वाद - विवाद की स्थिति उत्पन्न होती गई।

चौकी प्रभारी की करतूतें पहले ही बन चुकी हैं सुर्खियां ...

सूत्रों की माने तो हिंसक उपद्रव के बाद मौके पर पहुंचे एसपी चंदौली से ग्रामीणों ने चौकी प्रभारी की करतूतों का और सुलह समझौते से इतने बड़े संवेदनशील मुद्दे को हल कराने की शिकायत की और कहा कि यदि स्थानीय महकमा चैतन्य होता तो घटना घटित नहीं होता।

विदित हो कि इस घटना से पूर्व भी नवही चौकी प्रभारी की कारगुज़ारियों का बखान मीडिया की सुर्खियों में रही हैं। सुलह - समझौते के लिए चर्चित चौकी प्रभारी द्वारा किसी भी मामले में इस नीति को बखूबी अंजाम दिया जाता था। लेकिन उदासीन पुलिस महकमें के उच्चाधिकारियों ने चुप्पी साधे रखी। जिसका बड़ा नतीजा सामने आया और कानून व्यवस्था पर सवालिया निशान खड़ा कर दिया।

फिलहाल पुलिस हिंसक उपद्रव के बाद सचेत हो घटना के हर पहलू पर नजर जमाए हुए है और आगे की विधिक कार्रवाई में जुट गई है। शांति व्यवस्था कायम रखने को गांव में पुलिस फोर्स की तैनाती कर दी गई है।

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