लखनऊ - समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव ने कहा कि भाजपा सरकार किसानों और युवाओं की समस्याओं पर गंभीर नहीं है। हताशा में किसानों और नौजवानों की आत्महत्या की घटनाएं बढ़ रही हैं लेकिन, सरकार संवेदनहीन बनी हुई है। भाजपा सरकारें इसके लिए जवाबदेह हैं।पार्टी मुख्यालय में कर्नाटक, उत्तराखंड, रांची और पीलीभीत से आए लोगों और संपेरा समाज को मंगलवार को संबोधित करते हुए अखिलेश ने कहा कि भाजपा सरकार में किसानों की आत्महत्या में 40 गुना वृद्धि हुई है। महोबा में 2018 में ही 27 किसानों ने आत्महत्या की। पूरे देश में 26 हजार पांच सौ बेरोजगार नौजवान 2014-2016 के बीच फांसी के फंदे पर झूल चुके हैं। भाजपा सरकार इसके लिए जवाबदेह है।
पूर्व मुख्यमंत्री ने कहा कि किसानों की कोई जाति नहीं होती है, वह सिर्फ किसान हैं। किसानों की मदद करने के बजाय उनकी मृत्यु के दूसरे कारण बता दिए जाते हैं। भाजपा सरकार ने गांवों की बुरी हालत बना दी है। समाजवादी सरकार में किसानों की मृत्यु पर पांच लाख रुपये और आत्महत्या पर 10 से 15 लाख रुपये तक की मदद दी गई थी, जबकि भाजपा सरकार किसानों की मदद से भागती है। पूर्व मंत्री बलराम यादव, राजेंद्र चौधरी, प्रदेश अध्यक्ष नरेश उत्तम पटेल तथा विधायक एसआरएस यादव एवं अरविन्द कुमारभी मौजूद थे।
सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव को मंगलवार को जौनपुर के ग्राम रामपुर निवासी शुभलाल ने ज्ञापन सौंपकर बौना प्रजाति को आरक्षण दिलाने के लिए मदद मांगी। ज्ञापन में कहा गया है कि समाज का कोई वर्ग इनकी मदद करने के लिए आगे नहीं आता है। शुभलाल ने बताया कि बौना प्रजाति न तो स्वस्थ वर्ग में है और न विकलांग वर्ग में गिनी जाती है। नौकरियों में भी उनका उपहास होता है।