Janta Ki Awaz
व्यंग ही व्यंग

उजागर हुआ मामला.....

उजागर हुआ मामला.....
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मिली थी हिदायत।

रुपैया लाओ वसूल।।

उजागर हुआ मामला।

पकड़ लिया है तूल।।

वाक्या है गंभीर।।

ओहदे पर बैठे हैं।

चुप्पी साधे वीर।।

भक्षक बने सेवक।

उद्देश्य जो उगाही।।

पत्र में है उल्लेख।

मची अब तबाही।।

चला खूब लूट खसोट।

होगा पूर्व का पर्दाफाश।।

चरम पर सियासत।

आए दिन अब खास।।

अभय सिंह ....

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