वाराणसी में गाय बांधने को लेकर उपद्रव, पथराव-आगजनी

Update: 2017-07-17 00:47 GMT
सिगरा थाना क्षेत्र के महात्मा गांधी काशी विद्यापीठ परिसर के समीप गाय बांधने को लेकर रविवार रात दो पक्ष आमने-सामने आ गए। विरोध के बाद दोनों पक्षों के बीच हिंसक झड़प, आगजनी व पथराव से माहौल तनावपूर्ण हो गया। सूचना पर एडीजी जोन, कमिश्नर, डीएम-एसएसपी समेत आला अधिकारी मौके पर पहुंचे। पुलिस ने टीयर गैस व लाठीचार्ज कर भीड़ को तितर-बितर किया। तनावपूर्ण स्थिति को देखते हुए पीएसी के साथ भारी फोर्स की तैनाती कर दी गई है।
विद्यापीठ परिसर के समीप एक धर्मस्थल की चहारदीवारी के पास खाली जमीन पर एक व्यक्ति ने काफी दिनों से एक झोपड़ी व टीन शेड लगा रखा था। रविवार की रात आठ बजे गाय बांधने की जानकारी पर एक वर्ग के दर्जनों लोग पहुंचे और विरोध करने लगे। विवाद बढ़ा तो एक वर्ग के लोगों ने टीनशेड में तोड़फोड़ के बाद झोपड़ी में आग लगा दी। घटना की जानकारी मिलते ही दूसरे वर्ग के लोग भी पहुंच गए। देखते ही देखते एक वर्ग की ओर से पथराव शुरू हो गया।
इस दौरान एक पक्ष के लोगों ने मुख्य मार्ग से गुजर रहे वाहनों पर पथराव कर कई गाड़ियों के शीशे तोड़ दिए। बवाल बढ़ने की सूचना पर एडीजी जोन विश्वजीत महापात्रा, कमिश्नर नितिन रमेश गोकर्ण, आईजी दीपक रतन, डीएम योगेश्वर राम मिश्र, एसएसपी आरके भारद्वाज, एसपी सिटी दिनेश सिंह समेत बड़ी कई थानों की फोर्स पहुंच गई। एक वर्ग की ओर से नारेबाजी, हंगामा एवं पथराव को देखते हुए पुलिस ने टीयर गैस एवं लाठीचार्ज कर उन्हें खदेड़ा। पथराव में आधा दर्जन लोगों को चोटें आयी हैं।
सिगरा थाने में प्रशासनिक अधिकारी दोनों पक्षों को बिठाकर समझौते के प्रयास देर रात तक करते रहे। एक पक्ष के लोगों का कहना है कि झोपड़ी जिस स्थान पर लगाई गई थी वहां न्यायालय से स्टे है। इसके बावजूद दूसरे पक्ष ने यह काम कर माहौल बिगाड़ने का प्रयास किया।
जिलाधिकारी योगेश्वर राम मिश्र ने बताया कि स्थिति पूरी तरह सामान्य है और अराजकतत्वों को चिन्हित कर उनके विरुद्ध कठोर कार्रवाई की जाएगी। मजिस्ट्रेट एवं पुलिस के अधिकारियों को निर्देश दिया गया है कि ऐसे लोगों को चिन्हित करें। जिलाधिकारी ने लोगों से अपील कि है कि किसी भी प्रकार की अफवाह पर कतई ध्यान दें। 

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