बांग्लादेशी मिशनों की सुरक्षा पर ढाका का सख्त रुख, भारतीय उच्चायुक्त प्रणय वर्मा तलब

रिपोर्ट : विजय तिवारी
दिल्ली–सिलीगुड़ी की घटनाओं के बाद बढ़ी कूटनीतिक हलचल, भारत से ठोस सुरक्षा कदमों की मांग
नई दिल्ली। भारत में स्थित बांग्लादेशी राजनयिक मिशनों की सुरक्षा को लेकर बांग्लादेश ने कड़ा और स्पष्ट संदेश दिया है। हाल के दिनों में नई दिल्ली और पश्चिम बंगाल के सिलीगुड़ी में बांग्लादेशी प्रतिष्ठानों के बाहर हुए विरोध प्रदर्शनों और तोड़फोड़ की घटनाओं के बाद बांग्लादेश के विदेश मंत्रालय ने भारत में भारतीय उच्चायुक्त प्रणय वर्मा को तलब कर औपचारिक आपत्ति दर्ज कराई और सुरक्षा व्यवस्था को तत्काल सुदृढ़ करने की मांग रखी।
ढाका ने भारत सरकार को यह स्पष्ट रूप से अवगत कराया कि राजनयिक मिशनों, उच्चायोगों और वीजा केंद्रों की सुरक्षा अंतरराष्ट्रीय संधियों और कूटनीतिक परंपराओं के तहत मेज़बान देश की जिम्मेदारी होती है।
विदेश मंत्रालय के अनुसार, किसी भी प्रकार का विरोध, अव्यवस्था या संपत्ति को नुकसान न केवल राजनयिक मर्यादाओं के खिलाफ है, बल्कि इससे दोनों देशों के बीच आपसी विश्वास और संबंधों पर भी नकारात्मक प्रभाव पड़ सकता है।
घटनाओं से बढ़ी संवेदनशीलता
बांग्लादेश ने हालिया घटनाक्रम का सिलसिलेवार उल्लेख करते हुए स्थिति को चिंताजनक बताया।
20 दिसंबर को नई दिल्ली में बांग्लादेश उच्चायोग के बाहर कुछ संगठनों द्वारा प्रदर्शन किया गया, जिसमें बैरिकेड हटाने की कोशिशें हुईं और पुलिस को हस्तक्षेप कर हालात संभालने पड़े।
22 दिसंबर को सिलीगुड़ी स्थित बांग्लादेश वीजा सेंटर में तोड़फोड़ की घटना सामने आई, जिससे परिसर को नुकसान पहुंचा।
23 दिसंबर को दिल्ली में बांग्लादेश हाई कमीशन के बाहर फिर से विरोध प्रदर्शन हुआ, जिससे सुरक्षा व्यवस्था पर अतिरिक्त दबाव पड़ा।
इन घटनाओं के मद्देनज़र ढाका का कहना है कि राजनयिक परिसरों की सुरक्षा को लेकर किसी भी प्रकार की ढिलाई स्वीकार्य नहीं है।
विदेश मंत्रालय का स्पष्ट संदेश
बांग्लादेश के विदेश मंत्रालय ने अपने आधिकारिक बयान में कहा कि राजनयिक संस्थानों के खिलाफ हिंसा, धमकी या अव्यवस्थित गतिविधियां न केवल वहां कार्यरत कर्मचारियों और आगंतुकों की सुरक्षा को खतरे में डालती हैं, बल्कि आपसी सम्मान, शांति, सहिष्णुता और सह-अस्तित्व जैसे मूल्यों को भी कमजोर करती हैं।
मंत्रालय ने ऐसी घटनाओं की कड़ी निंदा करते हुए भविष्य में इन्हें रोकने के लिए प्रभावी और निवारक कदम उठाने की आवश्यकता पर जोर दिया।
भारत से ठोस कार्रवाई की अपेक्षा
ढाका ने भारत सरकार से अपेक्षा जताई कि सभी बांग्लादेशी दूतावासों, उच्चायोगों और वीजा केंद्रों के आसपास पर्याप्त पुलिस बल की तैनाती, निगरानी व्यवस्था को मजबूत करने और किसी भी अप्रिय स्थिति से निपटने के लिए त्वरित प्रतिक्रिया तंत्र सुनिश्चित किया जाएगा।
बांग्लादेश का मानना है कि इन कदमों से न केवल राजनयिक परिसरों की सुरक्षा सुनिश्चित होगी, बल्कि भारत–बांग्लादेश संबंधों में लंबे समय से चली आ रही सहयोग और विश्वास की परंपरा भी और मजबूत होगी।
बांग्लादेश ने यह भी दोहराया कि वह भारत के साथ संवाद, सहयोग और मित्रता को महत्व देता है, और उम्मीद करता है कि इस संवेदनशील मुद्दे पर समय रहते संतुलित, प्रभावी और ठोस कदम उठाए जाएंगे।




