महमूद आलम के नेतृत्व में विष्णुगढ़ में जन आक्रोश रैली: अनुमंडल, आंदोलनकारी सम्मान और मेडिकल कॉलेज की मांग पर धरना प्रदर्शन

विष्णुगढ़, 07 अक्टूबर 2025:
झारखंड आंदोलनकारी मोर्चा के बैनर तले आज विष्णुगढ़ प्रखंड मुख्यालय में तीन सूत्री मांगों को लेकर भव्य जन आक्रोश रैली व धरना प्रदर्शन का आयोजन किया गया।
रैली की शुरुआत सातमील चौक से हुई, जो अखाड़ा चौक होते हुए अंचल कार्यालय परिसर तक पहुंची।
इसमें विष्णुगढ़ और टाटीझरिया प्रखंड के सैकड़ों ग्रामीणों ने भाग लिया।
धरना की अध्यक्षता झारखंड आंदोलनकारी मोर्चा के मुख्य संयोजक महमूद आलम ने की, जबकि संचालन मुखिया संघ के सचिव निर्मल कुमार ने किया।
आलम अपने संबोधन में कहा कि;
“अगर झारखंड सरकार हमारी मांगों को झारखंड स्थापना दिवस तक पूरा नहीं करती है, तो विष्णुगढ़ और टाटीझरिया के सभी ग्रामीण मिलकर अंचल कार्यालय को बंद करने का आंदोलन करेंगे।”
उन्होंने आगे कहा कि विष्णुगढ़ की स्थापना वर्ष 1954 में और टाटीझरिया की 2005 में हुई थी। वर्तमान में 32 पंचायत और 2.5 लाख से अधिक जनसंख्या के बावजूद, विष्णुगढ़ को अनुमंडल का दर्जा न मिलना राज्य सरकार की घोर लापरवाही को दर्शाता है।
उन्होंने कहा की
“विष्णुगढ़ को पुलिस अनुमंडलीय मुख्यालय का दर्जा तो मिला, पर उसे सिन्दवार में स्थानांतरित कर देना केवल दिखावा है। वास्तविक मुख्यालय विष्णुगढ़ में ही होना चाहिए।”
मुख्य तीन सूत्री मांगें:
1. विष्णुगढ़ को अनुमंडल का दर्जा दिया जाए।
2. झारखंड आंदोलनकारियों को मान-सम्मान, पेंशन व ₹20 लाख का बीमा दिया जाए।
3. ग्राम नवादा में झारखंड आंदोलनकारी मेडिकल कॉलेज की स्थापना की जाए।
मुख्य संयोजक महमूद आलम ने अपने संबोधन में कहा;
“विष्णुगढ़ की स्थापना वर्ष 1954 में और टाटीझरिया की 2005 में हुई थी।
कुल 32 पंचायत और ढाई लाख से अधिक जनसंख्या होने के बावजूद भी सरकार अनुमंडल का दर्जा देने में टालमटोल कर रही है।
अगर झारखंड स्थापना दिवस तक मांगें पूरी नहीं हुईं, तो विष्णुगढ़ और टाटीझरिया के सभी ग्रामीण मिलकर अंचल कार्यालय बंदी आंदोलन करेंगे।”
इस अवसर पर मुखिया संघ के अध्यक्ष उत्तम कुमार महतो ने कहा:-
“सरकार को अब बाध्य होकर झारखंड आंदोलनकारियों की मांगों को पूरा करना ही होगा। जनता अब चुप नहीं बैठेगी।”
महमूद आलम ने कहा कि विष्णुगढ़ को पुलिस अनुमंडल का दर्जा तो मिला, लेकिन उसका मुख्यालय सिन्दवार में बना देना केवल दिखावा है।
असल में मुख्यालय विष्णुगढ़ में ही होना चाहिए।
धरना में उपस्थित प्रमुख आंदोलनकारी:
महमूद आलम, शाहिद सिद्दीकी (मांडू), नेज़ाम सिद्दीकी, राजेंद्र मंडल, कुलदीप रविदास, रणजीत पाठक, घनश्याम पाठक, मदन राम, करीम अंसारी, कुर्बान अंसारी, इशाक अंसारी, हामिद अंसारी, हाफ़िज़ ग़ुलाम नबी, मौलाना ज़ाकिर हुसैन, यूसुफ़ अंसारी, खलील अंसारी, लदुलारचंद साव, विशुन साव, नुनु गोपाल, बोधी महतो समेत सैकड़ों ग्रामीण और पंचायत प्रतिनिधि उपस्थित रहे।
धरना के अंत में प्रतिनिधिमंडल ने तीनों मांगों से संबंधित ज्ञापन प्रखंड विकास पदाधिकारी एवं अंचलाधिकारी को सौंपा।