शंख गिरि पहुंची सायकिल यात्रा, तलहटी में बसे गावों में लोगों को कर रही है पर्यावरण के प्रति जागरूक

महात्मा गांधी और कस्तूरबा गांधी की 150वीं और विनोबा भावे की 125वीं जयंती पर कश्मीर से निकली सायकिल यात्रा 8 हजार किलामीटर से आधी दूरी तय करके इस समय तमिलनाडु के शंख गिरी पहाड़ों और पहाड़ियों के तलहटी में बसे गावों में भ्रमण कर रही है। इस संबंध में पर्यावरण जागरूकता अभियान शहीद सम्मान सायकिल यात्रा के प्रायोजक, संयोजक और टीम लीडर प्रोफ़ेसर डॉ योगेंद्र यादव ने बात कि कश्मीर से कन्याकुमारी के लिए निकली पर्यावरण जागरूकता अभियान शहीद सम्मान यात्रा महात्मा गांधी की जयंती 2 अक्टूबर, 2019 को जम्मू और कश्मीर के गांधी चौक से निकली । पंजाब, हरियाणा, दिल्ली, राजस्थान, मध्य प्रदेश, महाराष्ट्र, तेलंगाना, आंध्र प्रदेश, कर्नाटक, पांडिचेरी, कर्नाटक, केरल की राजधानियों से होती हुई इस समय एर्नाकुलम के रास्ते कोयम्बटूर होती हुई इस शंख गिरी की तलहटी में भ्रमण कर रही है।
प्रोफेसर योगेंद्र यादव ने बताया कि इन पहाड़ियों को भी तोड़ने और उसकी गिट्टी बनाने का काम बड़े धड़ल्ले से चल रहा है। पहाड़ियों को पृथ्वी के अंदर तक खोद लिए जाने की वजह से वहां गहरे गहरे गड्ढे हो गए है। जिसमें पानी भरा हुआ है। ।
इनका उदाहरण देते हुए प्रोफेसर योगेंद्र यादव ने लोगों से कहा कि पहाड़, नदियां, वन आपकी पहचान हैं अभी तक इन्हीं की बदौलत आपकी रोजी रोटी चल रही थी, जिसे बहुत तेजी से नष्ट किया जा रहा है। इसे रोकने की आप लोगों को पहल करना चाहिए । आधी से अधिक पेड़ लगाना चाहिए और उनका संरक्षण भी करना चाहिए ।
प्रोफेसर योगेंद्र यादव की यात्रा आज वीराची पालयम, रेड्डी पालयम, थिरोचनवेड, पाँचम पालयम, कुपनूर, अयंकतुर सहित दर्जनों गांवों में घूम चुकी है




