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उत्तर प्रदेश

सोशल मीडिया पर छिड़ेगी वॉर, सपा की चुनावी रणनीति से विरोधियों की पेशानी पर पसीना आना शुरू हो गया

सोशल मीडिया पर छिड़ेगी वॉर, सपा की चुनावी रणनीति से विरोधियों की पेशानी पर पसीना आना शुरू हो गया
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सूबे की सियासत में हलचल शुरू हो गई है। भाजपा पहले ही अपनी सीधी टक्‍कर सपा से मानकर चल रही है। सपा टिकटों का बंटवारा कर शुरूआत में ही पहले चरण की जंग जीत चुकी है। भाजपा-कांग्रेस पीछे चल रहे हैं। एक सितम्‍बर से सपा चुनावी मैदान में दमखम दिखाने आ रही है। इस बहाने बूथ लेवल पर अपनी ताकत को परखने का काम भी करेगी।

बसपा दो रैली कर इसका पहले ही आगाज कर चुकी है। एक सितम्‍बर से सपा के विधानसभा सम्‍मेलनों की शुरूआत होने जा रही है। बुधवार से प्रदेश भर में सपा के विधानसभा सम्‍मेलनों का आगाज होने जा रहा है। सूबे के हर एक जिले में विधानसभा सम्‍मेलनों के दिन-तारीख भी तय हो चुके हैं। जिला प्रभारी भी नियुक्‍त कर दिए गए हैं। जिला और शहर अध्‍यक्षों की भी खास भूमिका तय की गई है। एक दिन में एक जिले में एक विधानसभा सम्‍मेलन आयोजित किया जाएगा। यही रुपरेखा पूरे प्रदेश के लिए बनाई गई है।

ये है विधानसभा सम्‍मेलनों का मकसद

सूत्रों की मानें तो विधानसभा सम्‍मेलन कराने का असल मकसद पार्टी की मौजूदा वक्‍त में ताकत को पहचानना है। कार्यकर्ता और पदाधिकारियों ने पार्टी के लिए कितना काम किया है, इसका एहसास भी सम्‍मेलनों के दौरान हो जाएगा। बूथ स्‍तर पर पार्टी भाजपा के मुकाबले कहां खड़ी है सपा यह सम्‍मेलनों के जरिए ही जानना चाहती है।

पार्टी पर लगे आरोपों को है धोना

आरोप लगते रहे हैं कि सपा सरकार के दौरान अपराध बढ़े हैं। खासतौर से महिलाओं से जुड़े अपराधों की संख्‍या में इजाफा हुआ है। इतना ही नहीं लूट और हत्‍याओं की वारदातों में भी बढ़ोतरी हुई है। सम्‍मेलनों के दौरान सपा अपने विकास कार्यों को सामने रखकर आरोपों को धोना चाहती है।

सोशल मीडिया पर आक्रामक जवाब

मैदान में उतरने के साथ ही सपा ने प्रचार वार भी छेड़ दिया है। सूत्रों की मानें तो हर काम के लिए एक अलग एजेंसी को जिम्‍मेदारी दी गर्इ है। जैसे आईटी के लिए अलग तो पीआर और विज्ञापन का काम कोई और एजेंसी देखेगी। आईटी वालों का काम होगा कि वह पार्टी की ओर से मिलने वाले नारे और पोस्‍ट को फेसबुक पर अपलोड करेंगे। वहीं अगर कांग्रेस और भाजपा का कोई पोस्‍ट आता है तो उसका जवाब भी देंगे। पार्टी को बदनाम करने वाले फेसबुक और व्‍हॉट्सअप पोस्‍ट पर भी निगाह रखी जाएगी।

रिटायर्ड अफसरों की टीम

सपा में बड़ी संख्‍या में रिटायर्ड आईएएस, पीसीएस और आईपीएस अधिकारियों ने भी एंट्री की थी। चुनाव के दौरान सपा ऐसे ही अधिकारियों से काम लेने जा रही है। सूत्रों की मानें तो चुनावों के लिए सपा ने ऐसे अधिकारियों की टीम बनाई है। टीम का काम पार्टी के लिए काम कर रहीं एजेंसियों पर निगाह रखना होगा। एजेंसी कहीं सिर्फ कागजों पर ही तो काम नहीं कर रही है, एजेंसी कहीं किसी विरोधी पार्टी से तो नहीं मिली हुई है। इस तरह के क्रिया-कलापों पर ही पार्टी में आए यह अधिकारी निगाह रखेंगे।


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