अखिलेश का ट्वीट-मतदान से इतिहास बदलने और बनाने का मौका
BY Anonymous11 March 2018 6:02 AM GMT

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Anonymous11 March 2018 6:02 AM GMT
गोरखपुर और फूलपुर लोकसभा सीट पर हो रहे उपचुनाव को लेकर समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव ने कहा कि आज का दिन इतिहास बदलने का भी है और नया इतिहास बनाने का भी. सबको साथ लेकर निकलें और दिखा दें कि हमारी एकजुटता में कितनी ताकत है. इसके नतीजे देश-प्रदेश के भविष्य के लिए क्रांतिकारी और निर्णायक साबित होंगे.
गौरतलब है दोनों ही सीटों पर सीएम योगी आदित्यनाथ की प्रतिष्ठा दांव पर लगी है.सपा-बसपा गठजोड़ के बाद गोरखपुर और फूलपुर लोकसभा सीट के लिए होने वाले उपचुनाव में बीजेपी ने आक्रामक रुख अख्तियार किया है. पार्टी के तमाम आला नेता सपा-बसपा दोस्ती को लगातार हमलावर दिखे.
इन दोनों ही सीटों पर बीजेपी, सपा और कांग्रेस के बीच मुकाबला होने की संभावना है. बसपा ने उपचुनाव में प्रत्याशी नहीं खड़े किए हैं. बीजेपी ने गोरखपुर से उपेंद्र दत्त शुक्ला को और फूलपुर सीट से कौशलेन्द्र सिंह पटेल को उम्मीदवार बनाया है.
सपा ने गोरखपुर से प्रवीण निषाद और फूलपुर से नागेन्द्र सिंह पटेल को मैदान में उतारा है. वहीं, कांग्रेस ने गोरखपुर से सुरहिता करीम व फूलपुर से मनीष मिश्र को टिकट दिया है.
गोरक्षनाथ पीठ का रहा है दबदबा
गोरखपुर सीट बीजेपी के लिए खासकर मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के लिए प्रतिष्ठा का सवाल है. योगी यहां से 5 बार सांसद चुने जा चुके हैं. 1952 में पहली बार गोरखपुर लोकसभा सीट के लिए चुनाव हुआ और कांग्रेस ने जीत दर्ज की. इसके बाद गोरक्षनाथ पीठ के महंत दिग्विजयनाथ 1967 में निर्दलीय चुनाव जीता. उसके बाद 1970 में योगी आदित्यनाथ के गुरु अवैद्यनाथ ने निर्दलीय जीत दर्ज की.
कुर्मी वोटरों पर नज़र
दूसरी ओर, कभी देश के प्रथम प्रधानमंत्री जवाहरलाल नेहरू को संसद में भेजने वाली फूलपुर की जनता ने 2014 में हुए लोकसभा चुनाव में बीजेपी प्रत्याशी केशव प्रसाद मौर्य को संसद पहुंचाया था. फूलपुर संसदीय क्षेत्र में ओबीसी की तादाद ज्यादा है और इसमें भी कुर्मी वोटरों को निर्णायक माना जाता है. इसलिए अब कुर्मी वोटरों को अपने पाले में करने की लड़ाई तेज हो गई है.
14 मार्च को आएंगे उपचुनाव नतीजे
गोरखपुर और फूलपुर लोक सभा सीट के लिए मतदान 11 मार्च को होगा. चुनावों के परिणाम की घोषणा 14 मार्च को होगी. गोरखपुर सीट मुख्यमंत्री आदित्यनाथ और फूलपुर सीट उप मुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य के इस्तीफे के बाद खाली हुई है.
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