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उत्तर प्रदेश

टिकट के लिए बेटी और मां के बीच छिड़ी जंग

लखनऊ: ये राजनीति क्या ना करवाए. आम तौर पर परिवार वालों को अगल-अगल पार्टी से चुनाव लड़ते और अपने ही परिवार वालों के खिलाफ बयानबाजी करते तो आपने खूब देखा होगा. लेकिन  जब सत्ता की चाहत एक बेटी को अपनी मां के खिलाफ खड़ा कर दे तो आप क्या कहेंगे. ऐसी ही हुआ है यूपी के देवबंद सीट पर. दरअसल देवबंद सीट से पूर्व मंत्री राजेंद्र सिंह राणा की पत्नी मीना राणा का नाम समाजवादी पार्टी ने अपनी लिस्ट में फाइनल कर दिया है. लेकिन पार्टी के इस फैसले के विरोध में कोई और नहीं बल्कि मीणा राणा की बेटी प्रियंवदा आ गई है. प्रियंवदा ने अपनी मां के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है. उनका कहना है कि मुलायम सिंह यादव से मिलकर मां को टिकट दिए जाने का विरोध करेंगी, क्योंकि ये टिकट उन्हे मिलना चाहिए था. टिकट के लिए मां-बेटी के बीच छिड़े इस संग्राम को देख कर लोग हैरान हैं.

प्रियंवदा को चाहिए था टिकट

प्रियंवदा का कहना है कि पिता राजेंद्र सिंह राणा की मृत्‍यु के बाद से ही वह लगातार जनता के बीच जाकर अपनी जमीन तैयार कर रही थीं. 'फैमि‍ली ने भी देवबंद सीट से लड़ाने का एलान किया था, लेकिन उधर मैं प्रचार में व्यस्त रही और इधर मां-भाई ने साजिश कर टिकट हथिया लिया.' उनकी मां ने यह टिकट साजिश के तहत हासिल किया. प्रियंलदा का कहना है कि अंतिम दिनों में पापा की इच्छा के कारण मैं पॉलिटिक्स में आई. जब तक मेरी शादी नहीं हुई थी तब तक सब सही था। जब शादी हो गई तो पॉलिटिक्स में रहना सबको अखरने लगा.

उपचुनाव में थी अहम भूमिका

प्रियंवदा कहती हैं कि पिता राजेंद्र सिंह राणा की मौत के बाद हुए उपचुनाव में अहम भूमिका निभाई थी. तब पार्टी हाईकमान ने मुझे कहा था 'आप चुनाव लड़ो।' तब मैंने कहा था कि नहीं इस पर मां का अधिकार है. मां के लिए मैं रोज गांव-गांव गई और चुनाव प्रचार किया. लोगों का सहयोग भी मिला, लेकिन हम चुनाव हार गए। इस चुनाव में देवबंद सीट कांग्रेस के पास चली गई.'
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