अमेठी को लेकर तनाव बढ़ा, गायत्री के बाद अमिता सिंह ने भी भरा नामांकन
BY Suryakant Pathak9 Feb 2017 1:38 PM GMT
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Suryakant Pathak9 Feb 2017 1:38 PM GMT
उत्तर प्रदेश की राजनीति में सबसे चर्चित विधानसभा सीट अमेठी इस बार कांग्रेस और सपा गठबंधन के बीच तनाव पैदा करती दिख रही है. कारण ये है कि नामांकन के आखिरी दिन कांग्रेस की तरफ से अमिता सिंह के पर्चा दाखिल करने से अब इस सीट पर गठबंधन के दोनों ही प्रत्याशी आमने-सामने आ गए हैं. इस सीट पर पांचवे चरण में 27 फरवरी को मतदान होना है.
नामांकन के चौथे दिन अमेठी विधानसभा से समाजवादी पार्टी की प्रत्याशी गायत्री प्रसाद प्रजापति ने अपना नामांकन दाखिल किया. अब आखिरी दिन कांग्रेस की तरफ से प्रत्याशी के तौर पर अमिता सिंह ने अपने पति राज्यसभा सांसद संजय सिंह औऱ बेटी के साथ पर्चा दाखिल किया. यही नहीं दोनों ही प्रत्याशी अपनी जीत का दावा भी कर रहे हैं.
पर्चा दाखिल करने के बाद अमिता सिंह ने कहा कि अमेठी की जनता उनके साथ है और जीत उनकी निश्चित है. उनकी रणनीति चुनाव जीतने की ही होगी. पहले की तुलना में वह और ज्यादा अनुभवी हो गई हैं, इसलिए वह इस बार चुनाव और भी बेहतर तरीके से लड़ने को तैयार हैं. सपा और कांग्रेस में गठबंधन है और अमेठी से उनके सामने सपा प्रत्याशी खड़े हैं, इस पर अमिता ने कहा कि यहां किसी भी चुनाव में चार पार्टियां हमेशा चुनाव में खड़ी हुईं हैं. कोई बदलाव नहीं हुआ है.
बहरहाल, कांग्रेस और एसपी में गठबंधन के बाद अमेठी में रार और तेज हो गई है. गठबंधन के बाद अमेठी की चार सीटों में दो कांग्रेस और दो एसपी के खाते में गई हैं. एसपी के खाते में गई गौरीगंज और अमेठी की सीटों पर कांग्रेस ने भी अपने प्रत्याशी उतार दिए हैं.
गौरीगंज सीट पर जहां मौजूदा विधायक राकेश प्रताप सिंह के सामने कांग्रेस ने मो. नईम को उतारा है, वहीं अमेठी सीट पर प्रदेश के कद्दावर कैबिनेट मंत्री गायत्री प्रसाद प्रजापति के सामने पूर्व मंत्री अमिता सिंह को टिकट दिया गया है. गायत्री प्रजापति ने 2012 में अमिता सिंह को हराया था.
राज्यसभा सांसद संजय सिंह ने कहा कि जैसे चुनाव की हर बार रणनीति होती है, वैसे ही इस बार भी है. गायत्री प्रजापति के भ्रष्टाचार और उनके कार्यों से अमेठी के सम्मान में जो दाग लगा है, उससे जनता उनको बाहर का रास्ता दिखाएगी. अमेठी में समाजवादी पार्टी और कांग्रेस आमने-सामने हैं.
वहीं संजय सिंह ने पहली पत्नी रानी गारिमा सिंह, जो भाजपा के टिकट पर मैदान में हैं, के नाम पर कहा कि 25 साल से हमारा उनसे कोई रिश्ता नहीं है. हमारी पत्नी अमिता सिंह हैं. संजय सिंह ने आगे कहा कि उनकी पत्नी अमिता सिंह पिछले 20 सालों से अमेठी की सेवा करती आ रही हैं.
अमेठी के कांग्रेस जिलाध्यक्ष योगेंद्र मिश्रा का कहना है कि भले ही दोनों पार्टियों के प्रत्याशी एक ही सीट से नामांकन कर रहे हों, लेकिन सबका लक्ष्य एक ही है. उन्होंने कहा कि राहुल गांधी और अखिलेश यादव दोनों ही नेताओं का एक लक्ष्य - सांप्रदायिक ताकतों को रोकना है. हालांकि आखिर में उन्होंने भी कांग्रेस पार्टी के सभी प्रत्याशियों को जिताकर अखिलेश यादव को यूपी में मुख्यमंत्री बनाने की बात कही.
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