कब तक हम करेंगे कैंडल मार्च और निंदा ?: अभय सिंह
BY Anonymous5 Dec 2019 4:38 PM GMT
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Anonymous5 Dec 2019 4:38 PM GMT
कब तक हम करेंगे ?
कैंडल मार्च और निंदा ।।
बदल डालो संविधान ।
शीघ्र हो इसका निदान ।।
क्यों अभी तक जिंदा ?
हैं राक्षस वो दरिंदा ।।
गिड़गिड़ाती, बिलखती है ।
सिसकती भी है, रूदन भी ।।
दया की भिख भी मांगती ।
हैवान,हवसी सुनता भी कहां ।।
दरिंदें तो जिस्म के भूखे के है ।
वो वहशीपन , बेपरवाह है ।।
मासूम बेकसूर ।
क्यूँ इतनी मजबुर ।।
दर्द कब तक झेलती रहेगी ।
यू ही सिलसिला चलता रहेगा ।।
बेटियाँ जलती रहेगी ।
जिंदा लाशों की तरह ।।
उठो और बदलो ।
अभी से प्रण लो ।।
लो काली- दुर्गा का अवतार ।
कर में खंजर या कटार ।।
अबला का भ्रम मिटा दो ।
महाकाली बनकर नमोनिशान मिटा दो ।।
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